Petrol Diesel LPG Gas: आज के समय में ईंधन के दाम हर घर की चिंता बने हुए हैं। सुबह होते ही बहुत से लोग यह जानने की लग जाते हैं कि आज पेट्रोल, डीजल और LPG सिलेंडर के भाम क्या हैं। 5 अक्टूबर 2025 को तेल विपणन कंपनियों ने देशभर के विभिन्न नगरों में नई दरें लागू कर दी हैं। ये दाम प्रतिदिन सुबह 6 बजे अपडेट होते हैं और अंतरराष्ट्रीय कच्चे तेल की कीमतों और स्थानीय करों के आधार पर तय किए जाते हैं।
ताज़ा दरें और अपडेट्स
5 अक्टूबर को जारी दरों के अनुसार, दिल्ली में पेट्रोल ₹96.72 प्रति लीटर और डीजल ₹89.62 प्रति लीटर बिक रहा है। वहीं घरेलू LPG सिलेंडर की कीमत ₹903 निर्धारित की गई है। पिछले कुछ हफ़्तों से राजधानी में दाम में बड़े बदलाव नहीं आए हैं, जिससे आम जनता को कुछ स्थिरता महसूस हो रही है।
मुंबई में आज पेट्रोल ₹106.31 प्रति लीटर और डीजल ₹94.27 प्रति लीटर पर स्थिर है। यहाँ LPG सिलेंडर की कीमत ₹920 है। कोलकाता में पेट्रोल ₹106.03 और डीजल ₹92.76 प्रति लीटर बेचे जा रहे हैं। दक्षिण भारत के चेन्नई में पेट्रोल ₹102.63 और डीजल ₹94.24 प्रति लीटर दर्ज किया गया है, जबकि LPG सिलेंडर की कीमत लगभग ₹910 के आसपास बनी हुई है।
इन महानगरों में तेल कंपनियों ने इस बार दामों में कोई बड़ा फेरबदल नहीं किया है, जिससे उपभोक्ताओं को राहत का अहसास हो रहा है।
महानगरों में ईंधन दरों का विश्लेषण
दिल्ली के हालात
दिल्ली में पेट्रोल की दर पिछले कुछ समय से ₹96–97 की रेंज में बनी हुई है। डीजल भी ₹89–90 के बीच ही चल रहा है। इसके पीछे कारण है कि अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमतें अत्यधिक उतार-चढ़ाव नहीं दिखा रही हैं। राजधानी में केंद्र एवं राज्य सरकार द्वारा लगाए गए करों का भाग बहुत अधिक है, लेकिन यहाँ के दाम देश के कई अन्य शहरों की तुलना में अपेक्षाकृत कम माने जाते हैं।
मुंबई का परिदृश्य
मुंबई में पेट्रोल-डीजल की क़ीमतें दिल्ली से अधिक होती हैं। इसका मुख्य कारण महाराष्ट्र सरकार द्वारा लगाए गए उच्च वैट हैं। इस शहर में जीवनयापन की लागत आम तौर पर अधिक होती है, और ईंधन की महंगी दरें इससे और भी भारी हो जाती हैं। LPG सिलेंडर की कीमत भी दिल्ली से ₹15–₹20 अधिक पर बिकती है।
पूर्वी एवं दक्षिणी भारत
कोलकाता में पेट्रोल-डीजल की दरें मुंबई के करीब हैं, क्योंकि पश्चिम बंगाल में भी राज्य कर अधिक है। यहाँ डीजल की दर ₹92–93 के बीच बनी हुई है। चेन्नई में पेट्रोल की दर मुंबई से थोड़ी कम है, लेकिन दिल्ली से अधिक। तमिलनाडु सरकार ने कुछ समय पहले ईंधन पर करों में राहत दी थी, जिससे उपभोक्ताओं को थोड़ी राहत मिली।
ग्रामीण इलाकों पर विशेष असर
गांवों और छोटे कस्बों में पेट्रोल, डीजल की दरें शहरों की तुलना में आमतौर पर ₹2–₹5 अधिक होती हैं। इसका मुख्य कारण है परिवहन लागत और वितरण की चुनौतियाँ। जहाँ बड़े शहरों में डिपो और पेट्रोल पंप अधिक होते हैं, वहीं दूरदराज इलाकों में तेल पहुँचाने में अतिरिक्त खर्च होता है, जो सीधे उपभोक्ता को देना पड़ता है।
फार्मिंग क्षेत्र में डीजल का प्रयोग अधिक है। जब डीजल महंगा हो जाता है, तो खेती की लागत बढ़ जाती है, और अन्त में खाद्य वस्तुओं की कीमतें भी बढ़ जाती हैं। गांवों में LPG कनेक्शन की संख्या बढ़ी है, लेकिन ₹900 से अधिक सिलेंडर गरीब परिवारों के लिए एक आर्थिक बोझ बन जाता है। सब्सिडी योजनाएँ थोड़ी राहत देती हैं, लेकिन हर परिवार को उनका लाभ नहीं मिलता।
करों और नीतियों की भूमिका
पेट्रोल व डीजल की कीमतों में केंद्र और राज्य सरकारों द्वारा लगाए गए करों की अहम भूमिका होती है। केंद्र सरकार एक्साइज ड्यूटी लगाती है जबकि राज्यों द्वारा वैट व अन्य शुल्क वसूले जाते हैं। कुल मिलाकर ईंधन की कीमत में लगभग 50–60% हिस्सा टैक्स का होता है।
यदि सरकारें टैक्स में कटौती करें तो तुरंत ही उपभोक्ताओं को राहत मिल सकती है। लेकिन राजस्व का कमी का डर इस तरह के कदमों को मुश्किल बनाता है। कुछ राज्यों ने चुनावी वादों के तहत ईंधन करों में कमी की है, परंतु दरें अभी भी अधिकांश प्रदेशों में स्थिर हैं।
केंद्र सरकार अंतरराष्ट्रीय बाजार की उतार-चढ़ाव को देख कर एक्साइज ड्यूटी में बदलाव करती है। हाल के महीनों में कच्चे तेल की कीमत अपेक्षाकृत नियंत्रण में हैं, जिससे घरेलू दरों में तीव्र उछाल नहीं आया है। उपभोक्ता यह अपेक्षा करते हैं कि सरकारें ईंधन को GST के दायरे में लाएं ताकि कीमतों में पारदर्शिता और स्थिरता बनी रहे।
जनता की उम्मीदें और चुनौतियाँ
ईंधन की कीमतों का असर रोजमर्रा की जिंदगी पर बहुत बड़ा होता है। जब पेट्रोल-डीजल महंगे होते हैं, तो ऑटो-टैक्सी किराए बढ़ते हैं और साथ ही सब्जी, फल, दूध जैसी जरूरी चीजों के दाम भी ऊँचे हो जाते हैं। यह विशेष रूप से मध्यम और निम्न आय वर्ग के लिए भारी पड़ता है क्योंकि उनकी आमदनी सीमित होती है।
लोग सरकार और तेल कंपनियों से यह उम्मीद करते हैं कि दामों में कमी लाएँ या कम से कम स्थिरता बनाए रखें। रोजाना कीमतों में उतार-चढ़ाव से बजट बनाना मुश्किल हो जाता है। LPG सिलेंडर की कीमतों में स्थिरता और राहत की विशेष आवश्यकता है क्योंकि यह हर घर की बुनियादी ज़रूरत है।
सरकार को चाहिए कि जब अंतरराष्ट्रीय बाजार में तेल की कीमतें घटें, तब घरेलू उपभोक्ताओं को तुरंत लाभ मिले। इसके लिए करों में युक्तिसंगत कटौती होनी चाहिए और नीतियाँ ऐसी बननी चाहिए कि जनता को लंबे समय तक राहत मिल सके।
अस्वीकरण
यह लेख केवल सूचना साझा करने के उद्देश्य से लिखा गया है। पेट्रोल, डीजल और LPG की कीमतें रोज बदल सकती हैं और विभिन्न स्थानों पर अलग हो सकती हैं। उपरोक्त जानकारी सार्वजनिक स्रोतों पर आधारित है। नवीनतम और सटीक दर जानने के लिए कृपया अपने नजदीकी पेट्रोल पंप या आधिकारिक वेबसाइट देखें। लेखक या प्रकाशक किसी भी त्रुटि या बदलाव के लिए उत्तरदायी नहीं हैं।